हिंदू धर्म में खरमास का काफी अधिक महत्व है। इसमें किसी भी तरह के मांगलिक और शुभ कामों को करने की मनाही होती है।
धनु संक्रांति आते ही 30 दिन तक शुभ कार्य बंद हो जाते हैं। खरमास को मलमास या अधिकमास के नाम से भी जाना जाता है।
16 दिसंबर 2022 को सूर्य धनु राशि में प्रवेश कर चुके हैं और इसी के साथ खरमास शुरू हो चुका है।
शास्त्रों के अनुसार खरमास में सूर्य धीमी गति से आगे बढ़ते है। इसके पीछे भी एक पौराणिक कथा का जिक्र मिलता है।
पौराणिक मान्यता है कि सूर्य 7 घोड़ों के रथ में सवार होकर पूरे ब्राह्मण की परिक्रमा करते हैं। इस दौरान घोड़े थक जाते हैं।
भगवान सूर्य ने के घोड़ों के रुकने से पूरे ब्रह्मांड में हाहाकार न मच जाए, इसलिए दो खर उनके रथ को खींचना शुरू कर देते हैं।
खर यानी गधों की गति घोड़ों की तुलना में धीमी होती है। 1 माह तक खर रथ खींचते हैं, इसलिए इसे खरमास कहा जाता है।